एस.एन. मेडिकल कॉलेज में सफ़ेद कोट पहनकर सेवा पथ पर पहला कदम, एमबीबीएस 2025 बैच का गरिमामय आगाज़

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आगरा लाईव न्यूज। सरोजिनी नायडू मेडिकल कॉलेज, आगरा में गुरुवार को एमबीबीएस 2025 बैच के नवप्रवेशित विद्यार्थियों के लिए आयोजित व्हाइट कोट सेरेमनी न सिर्फ एक औपचारिक कार्यक्रम रही, बल्कि यह उन सैकड़ों युवा सपनों की सार्वजनिक प्रतिज्ञा बन गई, जो मानवता की सेवा के लिए चिकित्सा क्षेत्र में कदम रखने जा रहे हैं। पूरे कॉलेज परिसर में गरिमा, उत्साह और जिम्मेदारी का भाव स्पष्ट रूप से महसूस किया गया।

कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्ज्वलन और सरस्वती वंदना के साथ हुई, जिसने समारोह को आध्यात्मिक और शैक्षणिक गरिमा प्रदान की। प्रधानाचार्य एवं डीन डॉ. प्रशांत गुप्ता ने अपने संबोधन में कहा कि सफ़ेद कोट केवल एक पोशाक नहीं, बल्कि समाज के प्रति डॉक्टर की जवाबदेही, नैतिकता और विश्वास का प्रतीक है। उन्होंने विद्यार्थियों से आग्रह किया कि वे ज्ञान के साथ-साथ संवेदना, अनुशासन और ईमानदारी को भी अपने चिकित्सकीय जीवन का आधार बनाएं।

इसके पश्चात विद्यार्थियों को चरक शपथ दिलाई गई। करुणा, निष्ठा और पेशेवर ईमानदारी से ओत-प्रोत इस शपथ के साथ विद्यार्थियों ने मानव जीवन की रक्षा और सेवा का संकल्प लिया। शपथ के बाद जब विद्यार्थियों ने अपना पहला व्हाइट कोट धारण किया, तो यह क्षण उनके मेडिकल सफ़र की औपचारिक और भावनात्मक शुरुआत का साक्षी बन गया।

समारोह में उपस्थित सभी विभागाध्यक्षों ने विद्यार्थियों को अपने अनुभवों और विचारों से मार्गदर्शन दिया। उप-प्रधानाचार्य एवं मेडिसिन विभागाध्यक्ष डॉ. टी. पी. सिंह ने अनुशासन और आजीवन सीखने को एक सफल चिकित्सक की पहचान बताया। एनाटॉमी विभागाध्यक्ष डॉ. अंजलि गुप्ता ने मजबूत बुनियादी ज्ञान को चिकित्सा शिक्षा की नींव बताया। फिज़ियोलॉजी विभागाध्यक्ष डॉ. दिव्या श्रीवास्तव ने वैज्ञानिक सोच के साथ मानवीय सहानुभूति को संतुलित रखने पर जोर दिया। बायोकैमिस्ट्री विभागाध्यक्ष डॉ. कामना सिंह ने प्रयोगशाला कार्य में शुद्धता और नैतिकता की अहमियत रेखांकित की।

पी.एस.एम. विभागाध्यक्ष डॉ. रेनू अग्रवाल ने सामुदायिक स्वास्थ्य और निवारक चिकित्सा को समाज के लिए अत्यंत आवश्यक बताया। माइक्रोबायोलॉजी विभागाध्यक्ष एवं परीक्षा अधीक्षक डॉ. अंकुर गोयल ने परीक्षा अनुशासन, विश्वविद्यालय नियमों और अकादमिक ईमानदारी की जानकारी दी। सर्जरी विभागाध्यक्ष डॉ. राजेश गुप्ता ने कौशल, धैर्य और आत्मविश्वास के साथ चिकित्सा अभ्यास करने का संदेश दिया, वहीं स्त्री एवं प्रसूति रोग विभागाध्यक्ष डॉ. शिखा सिंह ने महिलाओं के स्वास्थ्य, मातृत्व देखभाल और संवेदनशीलता के महत्व पर प्रकाश डाला।

कार्यक्रम में डॉ. ऋचा श्रीवास्तव ने मेंटॉरशिप कार्यक्रम का परिचय देते हुए बताया कि यह पहल विद्यार्थियों को शैक्षणिक मार्गदर्शन के साथ-साथ भावनात्मक सहयोग भी प्रदान करेगी। हॉस्टल से जुड़े नियम और दिशानिर्देश डॉ. रुचिका गर्ग और डॉ. के. एस. दिनकर द्वारा साझा किए गए। इस अवसर पर एमबीबीएस 2024 बैच के विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत एस.एन.एम.सी. गीत ने पूरे सभागार में गर्व और आत्मीयता का माहौल बना दिया।

समारोह का औपचारिक समापन यूजी अकादमिक इंचार्ज डॉ. दिव्या श्रीवास्तव के धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ। पूरे कार्यक्रम का सफल संयोजन फिज़ियोलॉजी विभाग की सहायक प्रोफेसर डॉ. सुदिप्ति यादव द्वारा किया गया।

व्हाइट कोट सेरेमनी ने न केवल नए विद्यार्थियों का कॉलेज परिवार में स्वागत किया, बल्कि उन्हें यह भी याद दिलाया कि चिकित्सा पेशा सम्मान के साथ-साथ गहन जिम्मेदारी और समर्पण की मांग करता है। एस.एन. मेडिकल कॉलेज में आयोजित यह समारोह एमबीबीएस 2025 बैच के लिए चिकित्सा जीवन की एक प्रेरणादायक और अविस्मरणीय शुरुआत बनकर सामने आया।

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